Monday, October 8, 2012

कदम आगे बढाने के लिए होते हैं , पीछे खींचने के लिए नहीं ..

कभी-कभी किसी का व्यक्तित्व समय के साथ ऐसा बन जाता है की हज़ारों लोग उससे ऊर्जा , हिम्मत और ताकत पाने लगते हैं ! निर्भर करने लगते हैं उस पर ! ऐसे में उस व्यक्ति का दायित्व बहुत बढ़ जाता है , स्वयं से जुड़े हज़ारों लोगों की जिम्मेदारी उस पर होती है ! उसका कमज़ोर पड़ना उन हजारों को निराश कर देता है जिसका ऊर्जा-स्रोत होता है वह !  अतः अपनी जिम्मेदारी समझें और कमज़ोर न पड़ें , चाहे कैसी भी कठिन परिस्थिति क्यों न आ जाए ! बढ़ता दायित्व संभालिये ! कदम आगे बढाने के लिए होते हैं , पीछे खींचने के लिए नहीं !---जय हिंद ! वन्दे मातरम् !

Zeal 

10 comments:

  1. अमल में लाने योग्य संदेश।

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  2. कदम कदम बढाए जा ,ख़ुशी के गीत गाए जा ,

    ये ज़िन्दगी है कौम की ,तू कौम पर लुटाए जा .

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  3. कदम कदम बढाए जा ,ख़ुशी के गीत गाए जा ,

    ये ज़िन्दगी है कौम की ,तू कौम पर लुटाए जा .

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  4. प्रेनाष्पद है ये लेख आप लिखते रहे यही अपेक्षा है .
    दीर्घतमा

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  5. सच कहा, ठिठकना पुरुषार्थ नहीं।

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  6. दायित्व लिया है तो निभाना ज़रूरी है .

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  7. बहुत सही कहा है आपने

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