Wednesday, September 26, 2012

'हिंदी ब्लॉग जगत ' -- एग्रीगेटर , कपिल सिब्बल का है !

"हिन्दिब्लौग्जगत"  नामक एग्रीगेटर कपिल सब्बलों का है जो अभिव्यक्ति की स्वतन्त्रता से घबराकर कभी फेसबुक बंद कराने की धमकी देते हैं तो कभी कुछ !

पूर्व में भी इन्होने मेरी किसी बात से चिढ़कर , मेरा ब्लौग  'ZEAL' अपने एग्रीगेटर पर BLOCK कर  दिया था , लेकिन बाद में माफ़ी मांगते हुए पुनः जोड़ दिया था !

अब इन्होने पुनः किसी बात से नाराज़ होकर , दुबारा मेरा ब्लौग , BLOCK  कर दिया है !

ये न तो कारण बताते हैं , ना ही मेल लिखकर पूछने पर जवाब देते हैं ! बस सर  कलम कर देते हैं तत्काल , अपनी सत्ता का एहसास दिलाने के लिए !

मैं समझती थी ब्लॉग एग्रिगेटर्स निष्पक्ष होते हैं और ये हमसे हमारी अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता नहीं छीनेंगे ! लेकिन नहीं अब ये पता चल चुका है की "हिन्दिब्लौग्जगत" नामक एग्रीगेटर निष्पक्ष नहीं है!

उम्मीद है बाकी एग्रीगेटर्स निष्पक्षता बनाये रखेंगे ! अन्यथा बिकी हुयी  मीडिया पर से तो लोगों का भरोसा उठ ही चुका  है , इन पर से भी उठ जाएगा !

एग्रीगेटर्स यदि ईमानदार नहीं हो सकते तो इन्हें एग्रीगेटर्स चलाने का भी कोई हक नहीं है !

कोई हो न हो , लेकिन  ईश्वर और आपका खुद का ईमान गवाह रहता है आपके बिके हुए ज़मीर का !

13 comments:

अरुन अनन्त said...

बिलकुल सही कहा है आपने आदरेया जी मैं आपके कथन से पूर्णतया सहमत हूँ

Rajesh Kumari said...

kisi ko kisi ki abhivyakti swatantrta chheenne ka koi haq nahi hai.

डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' said...

एग्रीगेटर चलाने से फिर क्या लाभ!
ऐसे एग्रीगेटर का बहिष्कार होना चाहिए!

रविकर said...

बहुत सही-

Anonymous said...

हिंदी ब्लॉग जगत किसी का पर्सनल ब्लॉग हैं किसका आप को जानकारी चिट्ठाचर्चा की कुछ महीने पहले आई ब्लॉग पोस्ट पर मिल जाएगी
ये अग्रीगेटर यानी संकलक हैं ही नहीं .
ये गूगल की दी हुई सुविधा हैं जिसके तहत आप अपनी पसंद के ब्लॉग जोड़ या हटा सकते हैं ,
लिंक जोडने के लिये बस ले आउट में जाकर गजेट जोड़ना होता हैं
आप का ब्लॉग जोड़ना या हटाना इस विधि से उनका मौलिक अधिकार हैं ,ये किसी भी तरह से आप के अधिकारों का हनन नहीं हैं
एक फ्री सुविधा मात्र हैं जो क़ोई भी बना सकता हैं
बहुत से ब्लॉगर इसका इस्तमाल करते हैं

ZEAL said...

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बेनामी उर्फ़ हिंदीब्लॉगजगत जी , आपकी टिपण्णी से ये तो सिद्ध हो गया की आप जैसे गुमनाम लोग भी ब्लॉगर्स के साथ ईर्ष्या-द्वेष रखते हैं और जब मन आया तब किसी का भी चिटठा जोड़ लेते हैं और खुंदक चढ़ने पर आप क्रोध में आकर चिटठा हटा भी देते हैं !

खैर आप कोई महान हस्ती तो हैं नहीं , विवादी ब्लॉगर्स में से ही कोई हैं , इसलिए आपकी हरकतों पर कोई आश्चर्य नहीं अब !

वैसे एक ब्लौग पर आपका नाम आ चुका है , इसलिए मुझे पता है की आप कौन हैं ! आपसे निष्पक्षता की कोई उम्मीद भी नहीं है हमें ! आपके पूर्वाग्रह ने ही आपसे ये कराया है !

जब आपको मेल लिखकर ब्लौग हटाये जाने का कारण पूछा तब आपने उत्तर देना ज़रूरी नहीं समझा ! और बिना कारण बताये मेरा ब्लौग भी हटा दिया अपने निजी एग्रीगटर से !

तो फिर मेरे चिट्ठे पर यहाँ अपनी सफाई देने क्यों आये हैं ? अन्य विवादी ब्लॉगर्स की ही तरह मेरे ऊपर एक अपमानजनक पोस्ट लिखकर अपनी दूकान क्यों नहीं चलाते ?

जाईये गुमनाम रहकर दुश्मनी निकालिए , लेकिन सनद रहे मेरे शुभचिंतक मित्रों ने मुझे आपकी जन्मकुंडली भेज दी है ! आपका नाम जानने के बाद आपकी टुटपुंजिया हरकत पर लेशमात्र भी आश्चर्य नहीं है अब !

आपने दो बार ये गलती दोहराई है , अब आपके लिए कोई माफ़ी नहीं है !



जाईये प्रसन्न रहिये !

अलविदा !

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Gyan Darpan said...

हम ब्लॉग वाणी व चिट्ठाजगत के बाद आये एग्रीगेटरों का कोई महत्व ही नहीं समझते|

दिवस said...

ब्लॉग जगत का मेरा अपना अनुभव यही कहता है, जिसे आप भी जानती हैं कि यहाँ निरुद्देश्य लिखने वालों का जमावड़ा अधिक है। इनका लेखन केवल व्यक्तिगत महत्वाकांक्षा की पूर्ती के अतिरिक्त कुछ नहीं। इसके लिए ये लोग अपना स्तर कितना भी नीचे गिरा लेते हैं। और ऐसे में जब आप अपने उद्देश्यों की लड़ाई लडती हैं और ईमानदारी से अपनी बात रखती हैं तो हिंदी ब्लॉग जगत पर कब्ज़ा जमा चुके इन बागड़ बिल्लों को तकलीफ होना स्वाभाविक है। आखिर इनकी भावनाओं को ठेस जो पहुँच रही है। इन्हें अपनी असलियत अपने ज़मीर में दिख जाती है, जिसे आपने इन्हें देखने पर मजबूर किया।
अब जब आप किसी का ज़मीर झकझोर देंगी तो आपके साथ इनका यही तो रवैया होगा। हिंदी ब्लॉग जगत में आपके सफर का मैं खुद को हमराही समझता हूँ। अपने ब्लॉग पर अधिक कुछ लिखता नहीं किन्तु जील ब्लॉग को अपना ही घर मान चूका हूँ। मेरी लिखने की इच्छा वही पूरी हो जाती है इसलिए आपके अनुभवों का खुद को प्रत्यक्षदर्शी समझने लगा हूँ। इस पूरे सफर में मैंने आपको हर कदम सही पाया। इसलिए यह विश्वास करता हूँ कि आपका अशुभ चाहने वाला निश्चित ही कोई गलत व्यक्ति है। साथ ही मुझे यह भी विश्वास है कि आप राह की इन बाधाओं से कभी नहीं घबराने वालीं।
मेरा समर्थन सदैव आपके साथ है और सिर्फ आपके साथ है। शेष से मेरा कोई लेना-देना भी नहीं है।

Prabodh Kumar Govil said...

Aap avichlit rah kar apni baat kahti rahiye.Yah nirbheekta aur bebaaki bani rahni chahiye.

सुशील कुमार जोशी said...

क्या फर्क पड़ता है
धुऎं के बादल से
छिपा भी दिया जाये
आसमान परिभाषित
नहीं होता सीमाओं से
ले लो कुछ क्षण का
चैन अगर इतने से
ही तुम्हें चैन आ जाये !

अनुभूति said...

आपसे पूर्णतया सहमत हैं....जो लोग निष्पक्ष न रह पाते हों उन्हें एग्रीगेटर चलाना नहीं चाहिए ....ऐसे एग्रीगेटर का बहिष्कार होना चाहिए ..

ज्ञानचंद मर्मज्ञ said...

बहुत दुःख होता है यह सब पढ़कर ! हम किस दुनियाँ में जी रहें हैं, यहाँ अपनी बात कहने की भी आजादी नहीं है !

Anonymous said...

Finally a person that puts some real work into a blog. I do like what you have done with the blog.